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देवभूमि उत्तराखंड में स्थित है एक खूबसूरत विंटर ट्रैकिंग स्थल क्वारी पास ट्रैक

देहरादून: क्वारी पास ट्रैक उत्तराखंड में स्थित एक खूबसूरत विंटर ट्रैकिंग स्थल है जो समुद्र तल से 12,516 फ़ीट की ऊंचाई पर स्थित है। क्वारी पास पहुंचने के लिए तहसील मुख्यालय जोशीमठ से ढाक तक 17 किमी की दूरी वाहन से तय करनी पड़ती है। इसके बाद शुरू होती है करछो व तुगासी गांव होते हुए 13 किमी लंबे ट्रैक की पैदल सैर।

पैदल मार्ग पूरी तरह व्यवस्थित होने के कारण इसे ट्रैकिंग के लिए सुरक्षित माना जाता है। चार दिन के इस सफर में खाने व ठहरने की व्यवस्था जोशीमठ के ट्रैकिंग व्यवसायी करते हैं। क्वारी पास के बेस कैंप खुलारा बुग्याल (मखमली घास का मैदान) से हिमालय 360 डिग्री में चंद्राकार नजर आता है। यह हिमालय दर्शन का अलग ही आनंद है। इस पिक को करने के लिए बरसात से पहले या उसके बाद ही आपको जाना चाहिए और यहां से आपको उत्तराखंड के सबसे बड़ी चोटी नंदा देवी पर्वत का विहंगम दृश्य नजर आता है। जिसे आप देखकर अंदर से खुशी महसूस करते हैं जो आपकी अंतरात्मा को शांति देता है। जैसे-जैसे आप ट्रैक पर आगे को बढ़ते जाते है आपको हिमालय की अन्य खूबसूरत पर्वत श्रंखला देखने को मिलती है। इसी कारण इस ट्रैक की उत्तराखंड ही नहीं अपितु पूरे भारत के सबसे सुन्दर सर्दियों के ट्रैकिंग स्थलों में गिनती की जाती है।

ट्रैकिंग के दौरान आपको घने जंगलो के बीच से होकर जाना होता है जो जंगल काफी पुराने है। जंगल में ज्यादातर खूबसूरत ओक व रोडोडेंड्रोन्स के पेड़ लगे है जो लगभग एक समान दूरी पर लगे होने के कारण काफी आकर्षित दिखाई पड़ते है। बार-बार जंगल व घास के मैदानों से जाने के इस कारण ये ट्रैक अपने आप में काफी अद्भुत तथा रोमांचक दिखाई देता है। क्वारी पास का मौसम प्रति घंटे के हिसाब से बदलता रहता है जिस कारण वहां ठण्ड भी अधिक रहती है। ठण्ड व बारिश से बचाव हेतु रेन चीटर, फुल स्लीव्स पतली जैकेट्स, मंकी कैप, ट्रैकिंग शूज, गर्म मोज़े, मफलर, तौलिए, धुप से बचाव हेतु अच्छे किस्म के चश्मे, कोल्ड क्रीम, लिप बाम, सनस्क्रीन लोशन, लेड टॉर्च, गर्म पानी की बोतल, ट्रैकिंग पोल, सिरदर्द की दवाइयां जैसे क्रोसिन, डिस्प्रिन, कॉटन, बैंडदृऐड, मूव स्प्रे, गौज, क्रेप बैंडेज आदि चीजे है जो आपको ट्रैक पर जाते समय अपने साथ रखनी चाहिए। इस ट्रैक पर हर साल हजारों की संख्या में ट्रैकर्स आते है साहसिक पर्यटन को पसंद करने वालों के लिए भी ये एक आदर्श ट्रैकिंग स्थल है।

क्वारी पास ट्रैक पर कैसे पहुंचे

क्वारी पास ट्रैक पर जाने की शुरूआत तीर्थ नगरी हरिद्वार से जोशीमठ तक शुरू होती है जोशीमठ की दूरी हरिद्वार से लगभग 265 किमी है। जिसके बाद जोशीमठ से चित्रकांठा जाया जाता है जिसकी कुल ऊंचाई लगभग 3,310 मीटर अथवा 10,857 फ़ीट है। अगली यात्रा चित्रकांठा से शुरू होती है जो ताली टॉप तक होती है। इस दिन का ट्रैक आपके पूरे ट्रैक में सबसे खूबसूरत होता है।

यह ट्रैक कुल 4 किमी का है तथा इस ट्रैक की कुल ऊंचाई 11,070 फ़ीट है। अगली ट्रैक ताली टॉप से शुरू होकर क्वारी पास तक जाता है तथा आपको ताली टॉप पर वापस आना होता है। क्वारी पास चोटी पहुंचकर आप वहां से 360 डिग्री का दृश्य देख सकते हैं। यहां से आपको चौखम्बा पर्वत, हाथी पर्वत, द्रोणागिरी, कॉमेंट पर्वत, मुकुट पर्वत, नंदा घुंगटी, केदारडोम तथा केदारनाथ पर्वत की बर्फ से ढकी पर्वत श्रंखला को भी करीब से देखने को मिलता है।

क्वारी पास ट्रैक पर जाने का सही समय

इस ट्रैक पर जाने का सही समय मार्च, अप्रैल तथा मई का रहता है। इन महीनो के दौरान आपको ऊपरी क्षेत्र में बर्फ भी देखने को मिलती है। वहीं मानसून के बाद भी आप इस ट्रैक पर जा सकते है। इस दौरान आप वहां की हरी/भरी वादियों के साथ-साथ नंदा देवी पर्वत, द्रोणागिरी पर्वत, केदार डोम तथा केदारनाथ पर्वत की खूबसूरती को भी नजदीक से देख सकते है।

क्वारी ट्रैक पास का तापमान

क्वारी पास का तापमान सर्दियों के समय पर बहुत ठंडा होता है। खासतौर पर दिसंबर, जनवरी व फरवरी को रात के समय यहां का तापमान 0 डिग्री से भी नीचे चला जाता है वहीं दिन के समय पर धूप निकलने के कारण यहां मौसम सामान्य रहता है। रात के समय यहां का तापमान 5 डिग्री से 10 डिग्री तक रहता है वहीं दिन के समय पर तापमान 8 डिग्री तक रहता है।

गांव में भी ठहर सकते हैं पर्यटक

क्वारी पास ट्रैकिंग रूट पर करछी व तुगासी गांव भी पड़ते हैं, जो पर्यटकों के ठहरने के लिए मुफीद हैं। ग्रामीण घोड़े-खच्चरों से पर्यटकों को घुमाने अथवा उनका सामान ढोने की सुविधा मुहैया कराते हैं। इस ट्रैकिंग रूट का पहला पड़ाव पांच किमी की पैदल दूरी पर घुलिंग में पड़ता है, जहां जंगल के बीच कैंपिंग ग्राउंड है।

आप यहां से गांवों के अलावा द्रोणागिरी की पहाड़ियं का सौंदर्य निहार सकते हैं। ट्रैकिंग रूट का दूसरा पड़ाव खुलारा बुग्याल है, जो क्वारी पास का बैस कैंप भी है। फूलों से लकदक यह बुग्याल तीन किमी क्षेत्र में फैला हुआ है। यहां से त्रिशूली से लेकर गंगोत्री हिमालय तक की चोटियां साफ देखी जा सकती हैं। खुलारा बुग्याल से क्वारी पास की दूरी चार किमी है। इन दिनों क्वारीपास व खुलारा में पर्याप्त बर्फ मौजूद है।

यह हैं नियम

क्वारी पास ट्रैक के लिए पर्यटकों को नंदा देवी राष्ट्रीय पार्क प्रशासन से ट्रैङ्क्षकग परमिट लेना पड़ता है। बिना स्थानीय टूर ऑपरेटर के यहां जाने की अनुमति नहीं है।

क्वारी पास का शुल्क

  • ईको फीस- 60 रुपये
  • प्रतिदिन घोड़े का शुल्क-25 रुपये
  • प्रति टेंट किराया- 100 रुपये
  • गाइड की फीस- 20 रुपये
  • स्टॉफ शुल्क- 10 रुपये (प्रति सदस्य)

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