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जिलाधिकारी रुद्रप्रयाग (District Magistrate Rudraprayag) ने की केदारनाथ में हुए हेलीकाप्टर दुर्घटना की जांच शुरु

रुद्रप्रयाग: केदारनाथ के गरुड़चट्टी (Garudchatti) क्षेत्र में हेलीकाप्टर (helicopter) दुर्घटना की जांच जिलाधिकारी रुद्रप्रयाग मयूर दीक्षित ने शुरू कर दी है। दुर्घटना को लेकर आशंकाओं का कोहरा घना है और तरह-तरह के कयास लगाए जा रहे हैं। हालांकि, दुर्घटना की असम वजह क्या रही इसकी तह तक जाने के लिए डायरेक्टर जनरल सिविल एविएशन (डीजीसीए) की टीम के साथ जिलाधिकारी मयूर दीक्षित भी जुट गए हैं। लिहाजा, हर एक आशंका के हिसाब में दुर्घटना के कारणों की पड़ताल की जा रही है। जिलाधिकारी मयूर दीक्षित के मुताबिक हेलीकाप्टर के दुर्घटनाग्रस्त होने के पीछे खराब मौसम, हेलीकाप्टर के किसी कारण पहाड़ी से टकराने, उड़ान की ऊंचाई कम होने के चलते बिजली के तारों से टकराने व तकनीकी खामी जैसी बातें सामने आ रही हैं।

प्रत्यक्षदर्शियों से भी की जाएगी बात

हालांकि, बिना स्पष्ट जांच के इन सभी को कयास माना जा रहा है। फिर भी किसी भी तरह की आशंका को हल्के में नहीं लिया जा रहा है। सभी बिंदुओं पर गहनता से जांच शुरू कर दी गई है। दुर्घटना के जो प्रत्यक्षदर्शी हैं, उन व्यक्तियों से भी बात की जाएगी। ताकि यह स्पष्ट किया जा सके कि दुर्घटना के समय या उससे पहले हेलीकाप्टर की उड़ान की स्थिति क्या थी। क्या हेलीकाप्टर में पहाड़ी से टकराने के बाद आग लगी या उससे पहले ही धमाके के साथ आग लगी, इन बातों को स्पष्ट करने के लिए प्रत्यक्षदर्शियों की बात भी अहम साबित हो सकती है। जांच के लिए डीजीसीए की टीम के साथ भी समन्वय बनाया जा रहा है। जल्द जांच रिपोर्ट सरकार को सौंप दी जाएगी।

धमाका हुआ और फिर हेलीकाप्टर को जमीन पर जलते देखा

दुर्घटना के समय संबंधित क्षेत्र में मौजूद रहे व्यक्तियों के हवाले से भी दुर्घटना को लेकर विभिन्न जानकारी मिल रही है। केदारनाथ क्षेत्र में राह रहे व्यापारी सतीश गैरोला ने बताया कि उन्हें धमाके की आवाज सुनाई दी। आवाज की तरफ नजर दौड़ाई तो दूर तक घना कोहरा ही दिख रहा था। फिर जमीन पर नजर पड़ी तो हेलीकाप्टर को जलते हुए देखा। वहीं, केदारनाथ धाम के तीर्थ पुरोहित महेश बगवाड़ी का कहना है कि जिस समय हेलीकाप्टर दुर्घटना का शिकार हुआ, उस समय मौसम खराब था और चारों तरफ कोहरा छाया था।

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